Sunday, February 11, 2007

प्यार को प्यार ही रहने दो...


प्यार ये ही तो नहीं कि जिसे आप प्यार करते हैं वो भी आपसे प्यार करता है.. कि आप दोनों साथ हैं.. खुश हैं.. कि किसी ने आपको अपना माना है.. कि किसी ने आपको अपना सब कुछ दे दिया है.. कि आप पर विश्वास करता है.. क्योंकि वो आपसे प्यार करता है.. कि कोई सिर्फ़ तुम्हें चाहता है.. तुम हंसते हो तो कोई साथ हंसता है.. वो जब ख्वाब देखता है तो तुम्हारे देखता है.. उसने वादा किया है तुम्हारा साथ निभाने का उम्र भर..कि कोई बस तुम्हारा है..कि किसी ने बस तुम्हें चाहा है.. उसे बस तुम्हारा खयाल है..। प्यार किसी को अपना बना लेने का गुरूर तो नहीं.. प्यार सिर्फ़ किसी के मिल जाने की खुशी तो नहीं... प्यार ये ही तो नहीं कि कोई सिर्फ़ तुम्हे चाहे और तुम उसे.. प्यार किसी एक का नहीं होता.. स्वार्थी नहीं होता.. प्यार वो है जो दूसरों के लिये जीना सिखाता है और ये सच है कि प्यार अगर सच्चा हो तो इंसान को बहुत अच्छा बना देता है.. प्यार अप्ने लिये नहीं होता.. प्यार अपनों के लिये होता है.. प्यार पा लेने का ही नहीं खो जाने का भी नाम है।

प्यार ये भी तो है कि आप किसी से प्यार करते हैं भले ही वो आपसे प्यार नहीं करता.. कि आप किसी के साथ हैं हमेशा.. कि कोई खुश है तो तुम खुश हो..कि तुमने किसी को सब कुछ दे दिया है बिना किसी उम्मीद के.. कि आप किसी पर विश्वास करते हो क्यूंकि आप प्यार करते हैं...तुम किसी को चाहते हो और तुम्हें उसका ख्याल है.. कि कोइ हंसता है तो तुम हंसते हो.. कि तुम किसी के ख्वाब देखते हो.. कि तुमने वादा किया है किसी का साथ निभाने क उम्र भर... कि तुमने बस उसे चाहा है। प्यार किसी का हो जाने का संतोष भी है.. तो किसी के बिछङ जाने का गम भी है.. और खुशी भी कि कुछ देर हि सही पर आप साथ थे.. प्यार ये भी कि तुम किसी के हो चुके हो.. प्यार तो बस प्यार है.. प्यार एह्सास है रिश्ता नहीं।

"तुम्हें प्यार मिला ये बङी बात है.. पर तुमने प्यार किया ये ज्यादा खूबसूरत एह्सास है"

" अगर कर सकते हो तो मह्सूस करो इस एह्सास को.. और दे सकते हो तो इतना प्यार दो कि कभी कोई कमी ना पङे.. कभी लेने की उम्मीद मत रखो.. प्यार उम्मीद पर नहीं किस्मत से मिलता है.. ये वो लकीर है जो हर हथेली पर नहीं होती...अगर कर सकते हो तो दुआ करो.. कि तुम्हें ना मिला ना सही.. पर उन्हें मिले जिन्हें तुम चाहते हो.. इसे देने कि खुशी मह्सूस करो.. जो खो जाने में लुत्फ़ है वो मिलने में नहीं.."

"ये वो दौलत है जो कभी घटती नहीं... तुम्हें कितना मिला ये तुम्हारी किस्मत.. तुमने कितना दिया ये तुम्हारी नीयत... प्यार तुम या मैं नहीं.. प्यार हम है.. प्यार सब है... प्यार रिश्ता नहीं.. प्यार बंधन नहीं.. प्यार तो तुममें , हममें , सबमें है.... प्यार दिलों में है.. इसे बंधनों में मत बांधो.... फ़ैलने दो आज़ादी से... महकने दो इसकी खुश्बू को..... प्यार तुम्हारा नहीं ना सहीं किसी का तो है, कहीं तो है...."

8 comments:

Jitendra Chaudhary said...

वाह! वाह!
प्यार पाने का नाम नही है, प्यार तो, अपने महबूब के चेहरे पर मुस्कराहटें पाने का नाम है। भले ही इस मुस्कराहट से आपकी राहों मे काँटे आएं। दीवाने को माशूका की बेवफ़ाई मे भी अलग रंग ही नज़र आता है। एक शायर ने क्या खूब कहा है :

मै चाहता भी यही था वो बेवफ़ा निकले
उसे समझने का कोई तो सिलसिला निकले
किताब-ए-माज़ी के औराक़ उलट के देख ज़रा
ना जाने कौन सा सफ़हा मुड़ा हुआ निकले

माज़ी == past
औराक़ == pages
सफ़हा == page

Jitendra Chaudhary said...

पिछली कमेन्ट मे कुछ शब्द बढा दें।
प्यार पाने का नाम नही है, प्यार तो, अपने महबूब के चेहरे पर मुस्कराहटें पाने के लिए लुट जाने का नाम है।

(प्लीज, कमेन्ट ठीक कर दीजिएगा)

Divine India said...

अरे तुम तो दार्शनिक हो गई मैं तो प्यार को बस इतना ही मानता हूँ…प्यार भक्ति है…और भक्ति में संपूर्ण समर्पण होता है…जहाँ कोई "मैं" नहीं कोई "तुम" नहीं… लेकिन तुमने जिस प्यार को आकार दिया है वह तो इस जगत अनुभूत प्रेम से उपर है…और अव्यवहारिक भी…कौन करता है ऐसा प्यार जब मानव में सत्य की पराकाष्ठा व्याप्त होगी तभी वह ऐसा प्यार कर पाएगा…और ऐसा प्रेम सिर्फ परमानंद से ही हो सकता है…जहाँ सुख नहीं आनंद मिलता है…।
तुमने इतनी गहराई डाल दी है की लोग कर्म जगत में खड़े होकर इसको समझने आएँगे।बस प्यार को शब्दों में ही तौल पाएँगे>।

Anonymous said...

प्यार को प्यार ही रहने दो कोई नाम ना दो....

Udan Tashtari said...

वाह वाह, खुब भाव उकेरे हैं, जारी रखो. अच्छा लिख रही हो. भविष्य को तुमसे बहुत उम्मीदें हैं, बहुत बधाई.

रंजू भाटिया said...

pyaar sirf pyaar hai ...aur kuch nahi ...acchi koshish ...:)

Monika (Manya) said...

धन्यवाद जीतू जी.. सोरी आपका कमेंट नहीं ठीक कर पाई... आपने शेर अच्छा कहा ।

शुक्रिया दिव्य! जो तुमने भावों की गहराई को समझा उम्मीद करती हूं और भी लोग समझेंगे...

तरूण जी बहुत धन्यवाद..

शुक्रिया समीर जी जो आपको मेरी रचनाएं इतनी पसंद आई..

हां रंजू प्यार सिर्फ़ प्यार है सराहने के लिये धन्य्वाद ..

Unknown said...

aji aapne to hume pyar karna sikha dia ...bhavishya me bahut kuch seekhne ko milega aapse manya ji...bahut acchi kavita hai...dhanyavaad..